तल्ख हैं उसके मेरे रिश्ते
बातों बात में हुई खिलाफत
अंजाम ए किसे अब परवाह
किस्सा अब ये आम हो गई
शनिवार, 24 अगस्त 2019
खामोश लब तेरी खातिर
इजहारे दिल न किया कभी तेरे खफा होने के डर से
इंतजार आज भी बची है तेरी इरादे दिल जानने बस
आज भी लव खामोस है दिल ए हाल तुम्हे बताने से
डरता हूँ कहीं जग हँसाई न हो जाये तरी इस जमाने
शुक्रवार, 16 अगस्त 2019
खुला बाजार
बेईमान बैठा बाजार सरेआम,
बिकता जो आज कल इमान।
मोल का आज होने लगा तौल,
बेग़ैरत हो गया जो आज जहां।।
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